हिंदी शायरी

बहकते हुए फिरतें हैं कई लफ्ज़ जो दिल में दुनिया ने दिया वक़्त तो लिखेंगे किसी रोज़....

Wednesday, May 11, 2016

रब से सिर्फ आपकी वफ़ा मांगेंगे....


चाँद निकलेगा तो दुआ मांगेंगे अपने हिस्से में मुकदर का लिखा मांगेंगे,,,,
हम तलबगार नहीं दुनिया और दौलत के हम रब से सिर्फ आपकी वफ़ा मांगेंगे....!!


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